2-140 श्री राम मंदिर बासर
श्री राम मंदिर बासर माना जाता है कि इसी स्थान पर माँ सरस्वती की कृपा से राजा दशरथ जी ने पुत्रेष्टि यज्ञ का संकल्प किया था। इसकी प्रेरणा वशिष्ठ जी से मिली थी। जहां राजा दशरथ जी आये थे वहीं श्री सीताराम जी भी आये थे। इसी स्मृति में यहां श्रीराम मंदिर का निर्माण हुआ, जो अब पूर्णतः ध्वस्त हो चुका है।
संदर्भ पृष्ठ 63 स्थल संख्या 63 की पाद टिप्पणी देखंे।
टिप्पणीः- धन व समय की बचत के लिए यात्रा श्री राम मंदिर बासर से 142 शरभंग आश्रम आये। यात्रा की वापसी में क्रम संख्या 141 आएं। श्री राम मंदिर बासर से शरभंग आश्रमः- बासर-मोहदा- घटंजी-कुरली-उनकेेश्वर। एन. एच. एस. एच.210-102 कि.मी.
श्री राम मंदिर बासर माना जाता है कि इसी स्थान पर माँ सरस्वती की कृपा से राजा दशरथ जी ने पुत्रेष्टि यज्ञ का संकल्प किया था। इसकी प्रेरणा वशिष्ठ जी से मिली थी। जहां राजा दशरथ जी आये थे वहीं श्री सीताराम जी भी आये थे। इसी स्मृति में यहां श्रीराम मंदिर का निर्माण हुआ, जो अब पूर्णतः ध्वस्त हो चुका है।
संदर्भ पृष्ठ 63 स्थल संख्या 63 की पाद टिप्पणी देखंे।
टिप्पणीः- धन व समय की बचत के लिए यात्रा श्री राम मंदिर बासर से 142 शरभंग आश्रम आये। यात्रा की वापसी में क्रम संख्या 141 आएं। श्री राम मंदिर बासर से शरभंग आश्रमः- बासर-मोहदा- घटंजी-कुरली-उनकेेश्वर। एन. एच. एस. एच.210-102 कि.मी.
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